गुजरात न्यूज: गुजरात पुलिस की साइबर क्राइम ब्रांच ने अस्पतालों के महिला मरीजों के निजी वीडियो लीक करने और उन्हें सोशल मीडिया पर साझा करने के मामले में तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इनमें से एक आरोपी प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ में स्नान कर रही महिलाओं के वीडियो भी अपलोड करता था।
महाकुंभ में महिलाओं के वीडियो शेयर करने का सनसनीखेज मामला
गुजरात क्राइम ब्रांच ने शुक्रवार (21 फरवरी) को इस मामले का खुलासा किया। गिरफ्तार किए गए तीन आरोपियों में से एक, चंद्र प्रकाश, प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ में महिलाओं के स्नान के वीडियो रिकॉर्ड कर सोशल मीडिया पर साझा करता था।
पुलिस के अनुसार, आरोपी ने ‘सीपी मोंडा’ (CP Monda) नाम से एक यूट्यूब चैनल बनाया था, जहां वह इन वीडियो को अपलोड करता था। अहमदाबाद साइबर क्राइम पुलिस उपायुक्त लवीना सिन्हा ने बताया कि चंद्र प्रकाश को प्रयागराज से गिरफ्तार किया गया है, जबकि महाराष्ट्र के लातूर और सांगली से प्रज्वल तैली और प्रज पाटिल नामक दो अन्य आरोपियों को हिरासत में लिया गया है।
महिला मरीजों के वीडियो बेचकर कमा रहे थे पैसे
पुलिस जांच में सामने आया कि आरोपी राजकोट के एक अस्पताल से महिला मरीजों के निजी वीडियो रिकॉर्ड कर उन्हें सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘टेलीग्राम’ पर पैसे कमाने के लिए साझा कर रहे थे।
सिन्हा के अनुसार, प्रज्वल तैली और प्रज पाटिल ने एक हैकर के जरिए महिला मरीजों के आपत्तिजनक वीडियो हासिल किए थे, जबकि चंद्र प्रकाश ने अन्य यूट्यूब चैनलों से वीडियो डाउनलोड कर अपने चैनल पर अपलोड किए। पुलिस अब यह जांच कर रही है कि क्या चंद्र प्रकाश भी इन वीडियो से आर्थिक लाभ कमा रहा था।
अस्पताल के CCTV से लीक हुए थे वीडियो
सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो राजकोट स्थित पायल मैटरनिटी होम के सीसीटीवी फुटेज से लीक हुए थे। वीडियो में महिला मरीजों को अस्पताल के एक बंद कमरे में महिला चिकित्सकों से जांच करवाते और नर्स से इंजेक्शन लगवाते हुए देखा गया था।
पुलिस ने अस्पताल प्रशासन से भी पूछताछ शुरू कर दी है और यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि सीसीटीवी फुटेज लीक कैसे हुए। मामले में और भी गिरफ्तारियां हो सकती हैं, क्योंकि पुलिस इस साइबर अपराध के पूरे नेटवर्क की पड़ताल कर रही है।
महाकुंभ में भी महिलाओं की निजता का उल्लंघन
चौंकाने वाली बात यह है कि आरोपी चंद्र प्रकाश ने प्रयागराज महाकुंभ में स्नान कर रही महिलाओं के वीडियो भी रिकॉर्ड किए थे और उन्हें अपने यूट्यूब चैनल पर साझा किया था। पुलिस को संदेह है कि आरोपी इन वीडियो को व्यूज और लाइक्स के जरिए पैसे कमाने के उद्देश्य से अपलोड कर रहा था।
हालांकि, महाराष्ट्र के दोनों आरोपियों का चंद्र प्रकाश से कोई सीधा संबंध सामने नहीं आया है, लेकिन सभी के खिलाफ साइबर क्राइम के तहत कड़ी कार्रवाई की जा रही है।
पुलिस कर रही मामले की गहन जांच
गुजरात पुलिस अब इस पूरे साइबर अपराध नेटवर्क की तह तक जाने की कोशिश कर रही है और यह पता लगाने का प्रयास कर रही है कि कहीं इस मामले में और भी लोग तो शामिल नहीं हैं। पुलिस का कहना है कि इस तरह की घटनाएं निजता के अधिकार का गंभीर उल्लंघन हैं और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।